कोविड राग: हिदायत, नियामत और मोहब्बत / जयप्रकाश चौकसे
प्रकाशन तिथि : 07 अप्रैल 2021
हिदायतों को अनदेखा करके अक्षय कुमार ने एक फिल्म की शूटिंग की। उन्हें और यूनिट के 45 लोगों को कोरोना संक्रमण हो गया। साधन संपन्न अक्षय कुमार को अस्पताल में भर्ती किया गया है। ट्विंकल और डिंपल देखभाल कर रही हैं। हम आशा करते हैं कि यूनिट के संक्रमित सदस्यों का भी इलाज हो रहा होगा। खबर है कि फिल्म एक राजनीतिक नारे के प्रचार के लिए बनाई जा रही थी। अक्षय कुमार अत्यंत अनुशासित व्यक्ति हैं। शराब छूते भी नहीं। शाकाहारी अक्षय कुमार प्रतिदिन रात 10 बजे सो जाते हैं, सुबह 4 बजे समुद्र-तट पर पैदल चलते हैं। इसके बाद अपने जिम में पसीना बहाते हैं। अक्षय सुबह से शाम तक की शूटिंग करते हैं। प्रतिवर्ष तीन फिल्मों की शूटिंग करते हैं। अगर फिल्मकार अधिक समय लेता है, तो उससे अतिरिक्त मेहनताना लेते हैं। गौरतलब है कि अक्षय कुमार जैसे अनुशासित व्यक्ति को भी कोरोना हो गया। सचिन तेंदुलकर भी संक्रमित हैं।
आई.पी.एल तमाशा क्रिकेट के स्टेडियम के कई कर्मचारियों को कोरोना हो गया। वहां अभ्यास के लिए जाने वाले खिलाड़ी भी संक्रमित हो गए हैं। तमाशे के प्रायोजक और टेलीविजन पर प्रदर्शन के अधिकार खरीदने वाले कॉरपोरेट राजनीतिक प्रभाव रखते हैं। तमाशा जारी रखा जाएगा। कुछ लोगों ने गुजारिश की है कि इस वर्ष इसे स्थगित कर दें। टेलीविजन प्रसारण अधिकार 5 वर्ष के लिए दिए जाते हैं। प्रसारण कंपनी अग्रिम राशि देकर 10 वर्ष के अधिकार ले लेती हैं। तमाशा क्रिकेट ने खिलाड़ियों को धनवान बनाया है। पॉली उमरीगर वाले दौर में क्रिकेट बोर्ड खिलाड़ियों को लॉन्ड्री के लिए 100 रु. प्रतिदिन देता था। भारत में ब्रिटेन की हुकूमत के समय क्रिकेट खेला गया। दुनिया के अधिकांश देशों में क्रिकेट नहीं खेला जाता। इस तरह यह खेल उपनिवेशवाद का बायप्रोडक्ट है। आलम यह है कि खेल की कमेंट्री सुनते हुए पनवाड़ी कहता है कि विराट कोहली को कवर ड्राइव करना चाहिए। इधर, वैक्सीनेशन कार्यक्रम की गति बढ़ा दी गई है। जनसंख्या इतनी अधिक है कि लंबा समय लग सकता है। व्यवस्था के साथ सामाजिक संस्थाएं भी अपना योगदान दे रही हैं। नागरिकता बोध ही कारगर सिद्ध होगा। यह सिखाया नहीं जा सकता, परंतु सीखा जा सकता है। क्वारंटाइन किए जाने पर व्यक्ति को खुद से सामना करना पड़ता है। एकांत को सह लेना अत्यंत कठिन है। वह एक तरह की कैद है। जेल में बंद व्यक्ति की व्यथा गाथा ‘द शेशैंक रिडेम्प्शन’ में प्रस्तुत की गई थी। देश और समाज की संरचना की तरह ही जेल खाने होते हैं। हमारी जेल में साधन संपन्न व्यक्ति को सारी सुविधाएं मिलती हैं। प्रकाश झा की एक फिल्म में प्रस्तुत किया गया था कि एक नेता को जेल में फ्रिज एवं शराब के साथ शबाब भी उपलब्ध था। अमेरिका की जेल में तो कैदी हिंसा करते हैं। पहरेदार को आंख बंद करने के लिए धन दिया जाता है।
कोविड राजा -रंक में भेद नहीं करता। पूंजीवाद के पक्षधर इस महामारी को वामपंथी रोग कह सकते हैं। प्रेसिडेंट जो बाइडेन के नेतृत्व में पूंजीवादी अमेरिका, तथाकथित साम्यवादी चीन से टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में आक्रामक रुख अपना रहा है। सायबर युद्ध में भी नई रणनीति बना रहा है। जॉन. एफ. कैनेडी के जमाने में रूस का हव्वा था। वर्तमान का चीन उस युग के रूस से कहीं अधिक मजबूत है। कैनेडी के दौर में रूस के हव्वे पर हास्य व्यंग्य फिल्म बनी थी, ‘रशियंस आर कमिंग’ यह माना जाता है कि आक्रामकता ही श्रेष्ठ रक्षा प्रयास है। यह भी माना जाता है कि हर देश में गृह रक्षा नीति का ही स्वरूप उसकी विदेश नीति होती है। जो बाइडेन, अमेरिका को ट्रंपिज्म से मुक्त करने का प्रयास कर रहे हैं। हर जगह वेतन भोगी हुड़दंगी पकड़े जा रहे हैं। बहरहाल कोविड हिदायतों को पालने वाले को सेहत के लिए नियामत मिल सकती है और हिदायत, नियामत से भी आगे है, मोहब्बत।