गुलामी / डॉ. रंजना जायसवाल
Gadya Kosh से
पार्क से गुजरते हुए फुटपाथ पर उसने एक आदमी को देखा, जो अपने तोते के साथ ताश के पत्तों की सहायता से लोगों का भविष्य बता रहा था।
“चलो न हम भी अपना भविष्य दिखाते हैं।”-उसकी प्रेमिका ने हुलसकर कहा था।
“इससे…?” उसने आश्चर्य से अपनी प्रेमिका की ओर देखा।
“हाँ सुना है बहुत सही बताता है।”
उसने तोते के पिजड़े की ओर देखा और मन ही मन बुदबुदाया, जिसका अतीत गुलामी, वर्तमान गुलामी वह दूसरों का भविष्य क्या बताएगा…!