माँ / रश्मि
Gadya Kosh से
ग्वाला गाय दुह रहा था, पास ही खूंटे से बंधा बछड़ा भूख से मिमिया रहा था। गाय ने बछड़े को ढांढस बंधाया, "बेटा न रो, चुप हो जा। तुझ से ज्यादा भूखा तो मनुष्य है, पहले यह मुझे दुह ले। मेरे शारीर का एक एक अंग ये मनुष्य उपयोग में लेता है और अपने खूटे से बांधकर रखता है। तभी तो मुझे 'माँ' कहता है।"