विचार- प्रवाह / परंतप मिश्र

Gadya Kosh से
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सपाट से सूनसान रस्ते न जाने कितने सफलताओं के पदचाप अपने ह्रदय में संजोए सदा आमंत्रित करती हैं उन सभी यात्रियों को जिनके पैरों की प्रतिध्वनि से एक मील के पत्थर का निर्माण हो सके। गढ़ सके जो एक नया मार्ग जो आगंतुकों के अनुभवों को एक नयी पहचान दे जाये।

अकेले चलते ये अंतहीन रास्ते न जाने कितने लोगों से रोज़ मिलकर उनके यात्रा के सहभागी बनते हैं। रास्तों की अपनी एक विशाल दुनिया है जो अपने सहयोगियों के संयोजन का परिणाम है। भेद-भाव से परे इस दुनिया में कोई बड़ा या छोटा नहीं है सभी के समुचित प्रयास से प्राप्त सफलता में एक-समान भागीदारी सुनिश्चित है।

कभी शुष्क और निर्जन स्थानों को एक पहचान देती पगडण्डीयाँ तो कभी अति कोलहल से व्यथित गालियाँ, कभी खेतों से अटखेलियाँ करते डाँड़-मेड़ तो कभी ईंटों से सजी चकरोट मिलते हैं। ये जब किसी चौराहों पर मिलती हैं तो सुस्ता कर अनेक पथिकों की कहानियों को साझा करती हैं यही तो इनका मनोरंजन है। ये शहर की चमचमाती सडकों की तरह नहीं जो कभी मोटर वाहनों के शोर से मुक्ति पा सके। अनवरत जागते हुई ये सड़कें यात्रियों की सुविधा में संतोष करती हैं।

सफलता और असफलता के पैमाने पर तुली जानी वाली यात्रा के परिणाम समानरूप से अनुभवों को साझा करते हैं। कभी तथाकथित असफलता भी अपने गहरे अनुसन्धान और अथक प्रयासों से परिपक्वता कि नयी रेखा खींच जाती है, जिस पर अबतक कोई पथिक चला ही न हो। नव पथ का सर्जन सफलता के चिरपरिचित मार्गों से कहीं अधिक श्रेस्यकर है।

सकारात्मकता से किया गया प्रयास आत्मसंतुष्टि प्रदाता एवं मनोबल वर्धक सिद्ध होता है। दूरूह से दूरूह लक्ष्य को भी सच्ची मेहनत एवं दृढ़ इक्षाशक्ति से तय करना आत्मबल और आत्मविश्वास को सुदृढ़ कने में सहायक होता है।

बिना चले हम यात्रा का आरम्भ नहीं कर सकते। लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए प्रयाण आवश्यक है, स्वप्न का साकार होना आपकी प्रतिभा कि अखण्ड ज्योति है। कपोल कल्पनाओं से विजय प्राप्ति नहीं होती वह तो सार्थक प्रयास का परिणाम हुआ करती है। यात्रा में आनेवाली चुनौतियाँ, , अडचनें, थकान तपिश और दुर्गमता सभी के लिए कष्टकारी ही होती है पर साथ ही साथ एक निजी संपत्ति के उपहार स्वरुप अमूल्य अनुभव के प्रशस्ति पत्र से अलंकृत भी कर जाती है।

समस्त चराचर के जीवन का उद्देश्य ही सफलतम के प्रयास की अवधारणा पर आधारित है। हमें चाहिए की पूर्ववर्ती सभी अनुभवों को ससम्मान धारण करते हुए निजी अनुभवों की एक मनोरम उद्यान लगायें जहाँ पर आपकी हर पद-धूलि से नव-बेल अपने सुवासित और सुकुमार पुष्पों से नवागंतुक यात्रियों का अभिवंदन करेगा।

सपने देखना अच्छी बात है पर उस पर योजना बनाकर सच करना एक उदाहरण प्रस्तुत कर जाता है। क्रियान्वित न हो पाने पर वे सभी सपने विचारों की अनसुलझी गुत्थी बनकर मस्तिष्क में गूँजती रहती हैं। सोते वक़्त भी इनको विश्राम देना कठिन तो उठने से पहले ही प्रकट हो जाती हैं।

अपने ही प्रयासों को हारे हुए और टूटे हुए मन से जीतना असम्भव होता है जबकि उच्च मनोबल से सम्पृक्त कर्मठ व्यक्ति सतत प्रयास करता हुआ अविश्वसनीय लक्ष्य एवं अविस्मरणीय सफल को प्राप्त करता है।

आपका शत-प्रतिशत प्रयास ही जलते दीपक की भाँति आपके पथ के अंधियारों का समूल नाश करेगा। आलोकित भविष्य की स्वर्णिम किरणों से जीवन पथ पर अग्रसर जीव सफलता कि लालिमा से मानव जगत को प्रकाशित कर सकेगा। आपकी प्रेरणा ह्रदय में सदा ध्रुव तारे की भाँति चिर काल तक दैदीप्यमान रहेगी। इसके विपरीत आधे मन और अधूरे प्रयासों से मन्द लौ की रौशनी में निस्तेज हमारा भविष्य अवसाद की वेदना से ग्रस्त हो जाता है।

बीतता हुआ समय निर्वात का निर्माण न कर सके इसके लिए सार्थक प्रयास की दिशा में आप सभी का अभिनन्दन एवं स्वागत करता हूँ। सर्वप्रिय राजनेता एवं कवि 'श्री अटल बिहारी वाजपेयी' जी की उत्प्रेरक पंक्तियों के साथ:

' क्या हार में, क्या जीत में,

किंचित नहीं भयभीत में,

कर्तव्य पथ पर जो मिले,

यह भी सही, वह भी सही। '

मनुष्य को स्वयं को ही उत्तर देना होता है और स्वयम से कोई मिथ्या प्रलाप भी नहीं कर सकता। सफलताओ के तोरण द्वारों पर सच्ची निष्ठा, साहस और धैर्य के साथ चलते हुए कर्तव्य-पथ पर बढ़ते रहें।