विदेशी फिल्मों में भारतीय कलाकार / जयप्रकाश चौकसे

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विदेशी फिल्मों में भारतीय कलाकार
प्रकाशन तिथि : 19 मई 2014


भारत से सफलता पाने के बाद सितारों के मन में हॉलीवुड के सपने आने लगते हैं और इसके लिए वे तरह-तरह के प्रयास भी करते हैं। दरअसल हॉलीवुड में भारतीय कलाकार केवल पूर्व के पात्रों को निभाने के लिए ही लिए जाते हैं। विगत कुछ वर्षों में इरफान खान ने इस क्षेत्र में बहुत नाम कमाया है। उन्होंने केंद्रीय भूमिकाएं अभिनीत की हैं और उनके पहले ओमपुरी ने लगभग 20 फिल्मों में मुख्य भूमिका अभिनीत की है। यह सिलसिला सन् 40 के बाद से शुरू हुआ था। जब हमारे एक साधारण कलाकार साबू को लेकर हॉलीवुड के निर्माता ने 'एलीफैंट ब्वाय' नामक सफल फिल्म बनाई थी। पांचवें दशक में जेम्स आइबरी और इस्माइल मर्चेंट ने कुछ फिल्में शशिकपूर को लेकर बनाई थीं। परन्तु ये फिल्मकार मुख्यधारा के नहीं थे। वे अपनी साहित्य आधारित कला फिल्मों के लिए प्रसिद्ध थे। डेविड लीन ने 'लारेंस ऑफ अरेबिया' के लिए दिलीप कुमार को अनुबंधित करने का प्रयास किया था। परन्तु दिलीप कुमार ने निर्णय लेने में बहुत देर कर दी और यह फिल्म अन्य सितारों के साथ बनाई गई। इस फिल्म को बहुत सारे ऑस्कर पुरस्कार मिले। इस फिल्म में आईएस जौहर ने बहुत छोटी सी भूमिका की थी। स्टीवन स्पिलबर्ग ने अमरीश पुरी को अपनी फिल्म 'टेंपल ऑफ डुम" में प्रमुख खलनायक की भूमिका दी थी।

विगत वर्ष बर्लिन फिल्म महोत्सव में अमेरिका के डेनिस टेनोविक भारतीय कलाकार इमरान हाशमी को अपनी फिल्म के प्रदर्शन में ले गए थे। डेनिस टेनोविक की उस फिल्म का नाम था 'एपीसोड इन द लाइफ ऑफ आयरन पिकर"। ये फिल्म दुनिया भर में बहुत प्रशंसित हुई और बर्लिन महोत्सव में ही डेनिस ने यह घोषणा की थी कि भारत की पृष्ठभूमि पर बनने वाली उनकी नई फिल्म के नायक इमरान हाशमी होंगे। इस फिल्म की कुछ दिनों तक शूटिंग मुंबई और चंडीगढ़ में हुई। परन्तु लंबे समय से इस फिल्म ने कोई प्रगति नहीं की है। कुछ विशेषज्ञों का कहना है कि भारतीय नायक के साथ बनाई गई फिल्में अमेरिका में प्रदर्शित करना बहुत कठिन है। इससे स्पष्ट होता है कि सभी देशों का व्यवसायिक सिनेमा सितारा आधारित है।

अनेक वर्ष पूर्व शशिकपूर ने अपनी रेखा अभिनीत फिल्म 'उत्सव' का अंग्रेजी संस्करण भी बनाया था और उसे बेचने का प्रयास भी किया। कुछ अमेरिकन निर्माताओं को 'उत्सव' बहुत ही अच्छी लगी परन्तु उसका प्रदर्शन करना संभव नहीं था। उन्होंने शशिकपूर से कहा कि ऐसी विशुद्ध भारतीय फिल्म बनाते समय दोनों भूमिका किसी विदेशी सितारे को ही देना चाहिए। रिचर्ड एटनबरो ने अपनी फिल्म महात्मा गांधी के लिए अनेक भारतीय कलाकारों के स्क्रीन टेस्ट लिए थे और नसीरुद्दीन शाह का टेस्ट दो बार लिया गया था। रिचर्ड एटनबरो को विश्वास हो गया था कि गांधी की भूमिका में नसीर सर्वश्रेष्ठ सिद्ध होंगे। संभवत: बाद में उन पर कुछ व्यवसायिक दबाव आया और उन्होंने ब्रिटिश अभिनेता के साथ यह फिल्म बनाई। फिल्म की छोटी भूमिकाओं तक में उन्होंने अमेरिका और इंग्लैंड के जाने-माने कलाकार लिए थे। क्योंकि विदेशी दर्शक को आकर्षित करने के लिए यह जरूरी था।

इमरान हाशमी इस समय बड़े संकट से गुजर रहे हैं, क्योंकि उन्हें अपने 10 वर्षीय बेटे के इलाज के लिए बार-बार कैनेडा जाना पड़ता है। जो समय उन्होंने डेनिस को दिया था उस समय में अब वे अपने बेटे का इलाज करा रहे हैं। विक्रम भट्ट की 'मिस्टर एक्स' भी इमरान हाशमी के कारण रुकी हुई है। ज्ञातव्य है कि पांचवे दशक में अशोक कुमार को लेकर 'मिस्टर एक्स' फिल्म बनाई गई थी और इसी कथा में अनेक संशोधन करके बोनी कपूर ने मिस्टर इंडिया बनाई थी। अदृश्य होने वाले पात्र को लेकर अनेक फिल्में बनी हैं। परन्तु उनमें से सर्वश्रेष्ठ सलीम-जावेद की लिखी 'मिस्टर इंडिया' है।

सलीम-जावेद की इच्छा थी कि अमिताभ बच्चन को लेकर इस फिल्म का निर्माण वे स्वयं करें। परन्तु अमिताभ बच्चन पटकथा पसंद आने के बाद भी इसमें काम नहीं कर पाए। और इसी फिल्म को लेकर सलीम-जावेद और अमिताभ की सफल टीम टूट गई । इस घटना के कुछ समय बाद ही सलीम और जावेद की जोड़ी भी टूट गई। तभी से उनके पास दो पटकथाएं लिखी हुई थी। 'मिस्टर इंडिया' और 'काली' । सलीम साहब ने यह निर्णय जावेद पर छोड़ दिया था कि दोनों में से वह एक पटकथा चुन लें।

बहरहाल अमिताभ बच्चन को लेकर भी विदेशी फिल्मकारों की रुचि बनी हुई है। उन्होंने अभी तक एक विदेशी फिल्म में छोटी सी भूमिका अभिनीत की है। दरअसल भारत के दर्शक तो विदेशी फिल्मों को स्वीकार कर लेते हैं पर विदेशी दर्शक भारतीय कलाकारों को केवल भारतीय पात्रों के रूप में ही देखना चाहते हैं इसलिए इस तरह के अवसर कम मिलते हैं। अनिल कपूर ने स्लमडॉग मिलियनेयर में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। परन्तु इस फिल्म में काम करने के कारण ही अनिल कपूर को अमेरिकन सीरियल '24' में काम करने का अवसर मिला और इसका भारतीय संस्करण बनाने का अवसर भी मिला |