परदे के पीछे / जयप्रकाश चौकसे / मई 2015
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मई 2015 के लेख
- दीपिका, श्रीराम राघवन व विकास स्वरूप / जयप्रकाश चौकसे
- मराठी भाषा की 'कोर्ट' अखिल भारतीय है / जयप्रकाश चौकसे
- गब्बर की लोकप्रियता का राज / जयप्रकाश चौकसे
- मोहब्बत बीमारी कैसे बन गई? / जयप्रकाश चौकसे
- पीकू के आईने में परिवार और रिश्ते / जयप्रकाश चौकसे
- दंड प्रक्रिया और मानवीय करुणा / जयप्रकाश चौकसे
- प्रियंका, दीपिका व कंगना की मित्रता / जयप्रकाश चौकसे
- मसाला मनोरंजन गब्बर में सार्थकता / जयप्रकाश चौकसे
- पृथ्वी थिएटर : यादों का अनोखा उत्सव / जयप्रकाश चौकसे
- अपच के बहाने सांस्कृतिक पतन की फिल्म / जयप्रकाश चौकसे
- दो कंगनाओं के बीच फंसा माधवन / जयप्रकाश चौकसे
- मर्दाना फिल्में, जनानी फिल्में व सार्थक फिल्में / जयप्रकाश चौकसे
- पूंजीवादी मलमल के नीचे छिपी गरीबी / जयप्रकाश चौकसे
- दृष्टिहीन का संसार और संसार की विकलांगता / जयप्रकाश चौकसे
- देशी दर्शक और विदेशी मुहावरा / जयप्रकाश चौकसे
- कोलम्बस कश्यप की खोज यात्रा / जयप्रकाश चौकसे
- एक्शन की छवि दोहरा रहे हैं टाइगर श्रॉफ / जयप्रकाश चौकसे
- वूडी एलन का 'कान' में चिंतनीय बयान / जयप्रकाश चौकसे
- ऋषि कपूर दादा की भूमिका में / जयप्रकाश चौकसे
- आनंद राय और हिमांशु शर्मा को धन्यवाद / जयप्रकाश चौकसे
- देवदास की चंद्रमुखी और हरियाणवी कोमल / जयप्रकाश चौकसे
- अनिल कपूर और आधुनिक परिवार / जयप्रकाश चौकसे
- सितारे का मेहनताना और फिल्मकार की प्रतिभा / जयप्रकाश चौकसे
- रणबीर का अवचेतन अौर "बॉम्बे वेलवेट' / जयप्रकाश चौकसे
- उमराव जान का फितुर और अभिषेक का संकट / जयप्रकाश चौकसे
- विशाल भारद्वाज, कंगना और कासाब्लांका / जयप्रकाश चौकसे